डीएओ – डीएचओ को विभाग द्वारा संचालित योजनाओं की धीमी प्रगति पर पूछा स्पष्टीकरण।
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किसानों के निबंधन की संख्या कम होने, केसीसी का आवेदन सृजन में धीमी प्रगति को लेकर जिला कृषि पदाधिकारी (डीएओ) पर कार्रवाई का दिया निर्देश।
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लाभुकों के बीच पशुधन का वितरण लक्ष्य के अनुरूप नहीं करने, योजनाओं की धीमी प्रगति को लेकर जिला पशुपालन पदाधिकारी (डीएएचओ) पर कार्रवाई का दिया निर्देश।
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दूसरे दिन समाहरणालय सभागार में उपायुक्त (डीसी) श्रीमती विजया जाधव ने जिला समन्वय समिति (डीसीसी) का किया मैराथन बैठक।
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लगभग सात घंटे से ज्यादा चली बैठक, खाद्य आपूर्ति/बिजली वितरण निगम लिमिटेड/सहकारिता/गव्य/भूमि संरक्षण सर्वेक्षण/शिक्षा/राजस्व/खेल/यूआइडी/जेएसएलपीएस आदि विभागों की क्रमवार की समीक्षा, दिया अहम दिशा – निर्देश।
दूसरे दिन, सोमवार को भी उपायुक्त श्रीमती विजया जाधव ने जिला समन्वय समिति (डीसीसी) की बैठक किया। इसमें उन्होंने शेष विभागों खाद्य आपूर्ति, बिजली वितरण निगम लिमिटेड,सहकारिता, पशुपालन – गव्य, भूमि सर्वेक्षण, शिक्षा, राजस्व, खेल, यूआइडी, जेएसएलपीएस आदि अंतर्गत संचालित विभिन्न योजनाओं की प्रगति कार्य की समीक्षा की। इस क्रम में संबंधित विभागों के वरीय पदाधिकारी, सभी बीडीओ – सीओ, सभी प्रखंड स्तरीय पदाधिकारियों को अहम दिशा – निर्देश दिया। मौके पर डीआरडीए निदेशक श्रीमती मेनका, अपर समाहर्ता मो. मुमताज अंसारी, अनुमंडल पदाधिकारी चास सुश्री प्रांजल ढ़ांडा समेत सभी संबंधित विभागों के जिला स्तरीय पदाधिकारी, सभी प्रखंडों के प्रखंड विकास पदाधिकारी (बीडीओ)/अंचलाधिकारी (सीओ) आदि उपस्थित थे।
कृषि विभाग के समीक्षा क्रम में जिले के किसानों को किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) को लेकर आवेदन सृजन में रूचि नहीं दिखाने एवं सरकार की महत्वकांक्षी योजना धान अधिप्राप्ति को लेकर किसानों को प्रेरित नहीं करने, योजना के लिए किसानों का निबंधन नहीं करने को लेकर उपायुक्त ने नारजगी जताई। उन्होंने जिला कृषि पदाधिकारी (डीएओ) मो. शाहिद से मामले में स्पष्टीकरण पूछा है। समीक्षा क्रम में जिले के 86 हजार किसानों के बीच लगभग 52,741 किसानों को ही केसीसी कार्ड बनाया गया है। उन्होंने इस कार्य में एटीएम – बीटीएम को लगाते हुए 15 अप्रैल तक जिले के सभी किसानों को केसीसी का लाभ देने का निर्देश दिया। वहीं, विभाग द्वारा संचालित किसान समृद्धि योजना एवं खरीफ फसल योजना में लक्ष्य के अनुरूप जिले का प्रदर्शन कम था। इनमें सुधार का निर्देश दिया।
आपूर्ति विभाग की समीक्षा क्रम में आहर्ता नहीं रखने वाले लोगों का राशन कार्ड से नाम सत्यापन के बाद हटाने का उपायुक्त ने निर्देश दिया। उन्होंने सभी विपणन पदाधिकारी (एमओ)/बीडीओ – सीओ को इस दिशा मे कार्य करने को कहा। उन्होंने 06 महिने, 09 महिने और 12 महिने से जिन्होंने राशन नहीं लिया है, वैसे लाभुकों की सूची तैयार करने को कहा। उपायुक्त ने आहर्ता नहीं रखने वाले राशन कार्डधारियों से अपील किया है कि वह स्वेच्छा से अपना राशन कार्ड समर्पित करें, अन्यथा सत्यापन के क्रम में पकड़ें जाने पर अब तक किए गए राशन उठाव का राशन का बाजार दर के साथ अतिरिक्त 12 फीसदी राशि की वसूली की जाएगी।
समीक्षा क्रम में ससमय पर राशन का उठाव गोदाम से नहीं करने वाले डिलर व कार्डधारियों के बीच ससमय राशन नहीं वितरण को लेकर संबंधित पदाधिकारियों को निर्देश दिया। कहा कि राशन उठाव के साथ ही वितरण सुनिश्चित करें, उन्होंने डीएसओ को डिलर द्वारा राशन उठाव करने के साथ ही प्रेस विज्ञप्ति जारी करने को कहा। सभी बीडीओ/सीओ को कार्डधारियों – उनके परिजनों का प्रखंड कार्यक्रम पदाधिकारी से समन्वय कर आयुष्मान कार्ड बनाने को कहा। आवंटन के अनुरूप लाभुकों के बीच चीनी, चना दाल, नमक आदि वितरण को कहा। प्रखंडों में धोती – साड़ी – लुंगी योजना का जो शेष है, उसे अविलंब शिविर लगाकर वितरण का निर्देश दिया। सभी कार्डधारी आगामी 31 मार्च 2025 तक अपने राशन का ई-केवाईसी कराएं, यह जरूरी है।
धान विक्रय ई – उपार्जन पोर्टल में किसानों का निबंधन कम होने पर उपायुक्त ने गहरी नारजगी जताई। उन्होंने 25 से 15 अप्रैल तक अभियान चलाकर किसानों का निबंधन करने – धान क्रय करने के कार्य को गति देने, लक्ष्य को प्राप्त करने को कहा। वहीं, राइस मिलों को लंबित सीएमआर को 31 मार्च तक पूरा करने को कहा। डीएओ को किसानों को प्रेरित करने के लिए अपने स्तर से कार्रवाई करने को कहा।
सहकारिता विभाग की समीक्षा क्रम में डीसीओ ने जिले के 76 पैक्सों के कंप्यूटराइजेंशन करने के दिशा में कार्यालय – गोदाम निर्माण के लिए भूमि उपलब्ध कराने को लेकर अंचलाधिकारियों को पत्र भेजे होने की बात कहीं। उपायुक्त ने प्रखंड सहकारिता पदाधिकारी (बीसीओ) को सीओ कार्यालय से समन्वय स्थापित कर इस कार्य को जल्द पूरा करने को कहा। वहीं, 06 पैक्सों में प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र संचालन के लिए फर्मास्सिट उपलब्ध कराने को कहा। इस बाबत एसडीओ चास को ड्रग निरीक्षक से फर्मास्सिट की सूची उपलब्ध कराने को कहा। उपायुक्त ने लंबित कार्यों को 04 अप्रैल तक समाप्त करने का निर्देश दिया।
भूमि संरक्षण सर्वेक्षण की समीक्षा क्रम में उपायुक्त ने क्रमवार वित्तीय वर्ष 24 - 25 में छोटे एवं सीमांत कृषकों/स्वयं सहायता समूहों/महिला सखी मंडल/कृषक समूह को पंप सेट वितरण की योजना की जानकारी ली। योजना के तहत 1.5 – 3.0 एचपी का पंप सेंट 150 लाभुकों, 3.5-5.0 एचपी का 20 लाभुकों एवं 1.0 एचपी का सोलर पंपसेट 10 लाभुकों को दिया जाना है। इसी तरह कृषि यांत्रिकीकरण के प्रोत्साहन हेतु अनुदान पर मिनी ट्रैक्टर, पावर टीलर, रीपर, राईस ट्रांसप्लांटर एवं अन्य कृषि यंत्रों के वितरण की योजना के 05 – 05 लाभुक कृषक समूह/कृषक पैकेज को योजना से लाभांवित करना है। दोनों ही योजनाओं में लक्ष्य अनुरूप जिला स्तरीय समिति से लाभुकों की सूची का अनुमोदन कर लिया गया है। निदेशालय स्तर से टेंडर द्वारा दर निर्धारण नहीं होने के कारण वितरण लंबित है। इस दिशा में उपायुक्त ने निदेशालय से पत्राचार करने को कहा।
वहीं, वित्तीय वर्ष 2024-25 एवं 2025-26 में कृषकों, महिला स्वयं सहायता समूहों एवं अन्य को कृषक यंत्रों का वितरण योजना अंतर्गत मुख्यमंत्री ट्रैक्टर वितरण योजना के तहत ट्रैक्टर पैकेज के लिए 50 लाभुक एवं कृषि यंत्र पैकेज के लिए 30 लाभुक का लक्ष्य है। जिसके विरूद्ध 39 लाभुकों का आवेदन प्राप्त है। उक्त योजना के तहत वित्तीय वर्ष 23-24 एवं 24-25 में भी 22 लाभुकों को योजना से लाभांवित किया जाना है, जिला स्तरीय समिति से लाभुकों की सूची का अनुमोदन कर लिया गया है। निदेशालय स्तर से टेंडर द्वारा दर निर्धारण नहीं होने के कारण वितरण लंबित है।
समीक्षा क्रम में, मृदा एवं जल संरक्षण योजना अंतर्गत बंजर भूमि/राईस फेलो विकास उपयोजना अंतर्गत 05 एकड़ से कम जल क्षेत्र वाले सरकारी/निजी तालाबों का जीर्णोद्धार/गहरीकरण की योजना एवं परकोलेशन टैंक निर्माण की योजना की समीक्षा की। उन्होंने सभी योजनाओं को प्रखंड विकास पदाधिकारियों द्वारा सत्यापन के बाद ही राशि का भुगतान का निर्देश दिया।
पशुपालन विभाग की समीक्षा क्रम में उपायुक्त ने बकरा विकास योजना, सुकर विकास योजना, बैकयार्ड कुक्कुट पालन योजना, ब्रायलर कुक्कुट पालन योजना, बत्तख चूजा वितरण योजना के तहत पशुपालकों को वितरण की समीक्षा की। इस क्रम में वितरण की धीमी गति पर गहरी नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने जिला पशुपालन पदाधिकारी (डीएचओ) को स्पष्टीकरण पूछने का निर्देश दिया। वहीं, सभी बीडीओ को लाभुकों - वेंडर से समन्वय स्थापित कर वितरण सुनिश्चित करने को कहा। वेंडर द्वारा उपलब्ध पशुओं की प्रखंड चिकित्सा पदाधिकारी द्वारा जांच कर ही स्वास्थ्य होने पर लाभुकों के बीच वितरण करें। डायल 1962 एवं चलंत पशु चिकित्सालय, जिले में पदस्थापित चिकित्सकों का संपर्क नंबर व्याप्क प्रचार – प्रसार करने को कहा।
वहीं, जिला गव्य कार्यालय द्वारा संचालित जोड़ा बैल योजना, दो गाय की योजना एवं पांच गाय की योजना के तहत भी लक्ष्य अनुरूप पशुओं का वितरण पशुपालकों के बीच करने को कहा। प्रखंड विकास पदाधिकारियों से समन्वय कर पशुपालकों के बीच वितरण को कहा।
उपायुक्त ने क्रमवार बिजली वितरण निगम लिमिटेड/शिक्षा/राजस्व/खेल/यूआइडी/जेएसएलपीएस आदि की समीक्षा किया। सभी को लक्ष्य अनुरूप प्रदर्शन में सुधार लाने का निर्देश दिया।
बीडीओ – सीओ को प्रखंड स्तरीय पदाधिकारियों के कार्यों के निगरानी, अपने स्तर से नियमित समीक्षा बैठक कर लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए रणनीति तैयार कर कार्य को कहा। बैठक में सभी जिला स्तरीय – अनुमंडल स्तरीय एवं प्रखंड स्तरीय पदाधिकारी/कर्मचारी आदि उपस्थित थे।
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